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रोजाना कॉफी में घी डालकर पीना: फायदे, नुकसान और क्या कहते हैं एक्सपर्ट्स

ghee wali coffee peene se kya hota hai

Ghee Wali Coffee ke Fayde: पिछले कुछ सालों में स्वास्थ्य और वेलनेस की दुनिया में कई नए ट्रेंड्स आए हैं, और इन्हीं में से एक है सुबह की कॉफी में एक चम्मच घी या मक्खन मिलाकर पीना। इसे अक्सर ‘बुलेटप्रूफ कॉफी’ के नाम से भी जाना जाता है। इसके समर्थक दावा करते हैं कि यह न केवल दिन भर के लिए भरपूर ऊर्जा देता है, बल्कि वजन घटाने में मदद करता है और मानसिक स्पष्टता (mental clarity) को भी बढ़ाता है। कुछ डाइटिशियन और फिटनेस गुरु इसे 3 महीने तक लगातार सेवन करने की सलाह भी देते हैं।

लेकिन क्या ये दावे सच हैं? क्या अपनी सुबह की प्यारी कॉफी में घी मिलाना वाकई सेहतमंद है? इस लेख के लिए अपने शोध में, मैंने पाया कि इस ट्रेंड के जितने फायदे गिनाए जाते हैं, उतने ही संभावित जोखिम भी हैं, जिन्हें नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। आइए, एक स्वास्थ्य पत्रकार के दृष्टिकोण से इस ट्रेंड की गहराई से पड़ताल करें और जानें कि विज्ञान, डॉक्टर और डाइटिशियन कॉफी में घी डालकर पीने के फायदे और नुकसान के बारे में क्या कहते हैं।

घी वाली कॉफी क्यों है इतनी लोकप्रिय?

यह ट्रेंड ‘बुलेटप्रूफ कॉफी’ के कॉन्सेप्ट से लोकप्रिय हुआ, जो कीटो डाइट (Keto Diet) का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। कीटो डाइट एक बहुत ही कम-कार्बोहाइड्रेट और उच्च-वसा वाला आहार है।

इसके पीछे का सिद्धांत यह है:

  • ऊर्जा का स्रोत: जब आप कार्बोहाइड्रेट नहीं खाते, तो आपका शरीर ऊर्जा के लिए फैट को जलाना शुरू कर देता है। घी वाली कॉफी सुबह-सुबह शरीर को भरपूर मात्रा में फैट प्रदान करती है, जिसे शरीर ऊर्जा के स्रोत के रूप में इस्तेमाल कर सकता है।
  • पेट भरा रखना (Satiety): फैट को पचने में समय लगता है, इसलिए यह कॉफी पीने से पेट लंबे समय तक भरा रहता है और भूख नहीं लगती। यह अक्सर लोगों को नाश्ता छोड़ने और इंटरमिटेंट फास्टिंग (intermittent fasting) करने में मदद करता है।
  • मानसिक स्पष्टता: समर्थकों का दावा है कि इससे दिमाग को एक स्थिर ऊर्जा मिलती है, जिससे फोकस और मानसिक स्पष्टता बढ़ती है।

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घी वाली कॉफी पीने के संभावित फायदे क्या हैं?

इस ट्रेंड के कुछ संभावित फायदे हैं, लेकिन वे कुछ खास परिस्थितियों में ही लागू होते हैं:

  • कीटो डाइट वालों के लिए: जो लोग पहले से ही एक सख्त कीटो डाइट का पालन कर रहे हैं, उनके लिए यह सुबह ऊर्जा और फैट प्राप्त करने का एक त्वरित तरीका हो सकता है।
  • भूख को नियंत्रित करना: इसकी उच्च वसा सामग्री निश्चित रूप से भूख को दबाने में मदद करती है, जो कुछ लोगों को कैलोरी सेवन नियंत्रित करने में मदद कर सकता है।
ghee wali coffee

कॉफी पीने के स्वास्थ्य जोखिम और गंभीर नुकसान

अब बात करते हैं उस पहलू की जिसे अक्सर नजरअंदाज कर दिया जाता है। बुलेटप्रूफ कॉफी के नुकसान इसके फायदों पर भारी पड़ सकते हैं, खासकर आम लोगों के लिए।

1. सैचुरेटेड फैट की बहुत अधिक मात्रा (Very High Saturated Fat)

यह सबसे बड़ी चिंता का विषय है।

  • क्यों है हानिकारक? घी मुख्य रूप से सैचुरेटेड फैट होता है। अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन (AHA) जैसी संस्थाएं हृदय को स्वस्थ रखने के लिए सैचुरेटेड फैट का सेवन कुल कैलोरी के 5-6% तक सीमित रखने की सलाह देती हैं। एक बड़े चम्मच घी में ही लगभग 8-9 ग्राम सैचुरेटेड फैट होता है, जो आपकी दिन भर की सीमा का एक बड़ा हिस्सा हो सकता है।

2. ‘खराब’ कोलेस्ट्रॉल (LDL) बढ़ने का खतरा

  • क्यों है हानिकारक? कई अध्ययनों में यह पाया गया है कि अधिक मात्रा में सैचुरेटेड फैट का सेवन रक्त में एलडीएल कोलेस्ट्रॉल (LDL Cholesterol) यानी ‘खराब’ कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ा सकता है। बढ़ा हुआ LDL कोलेस्ट्रॉल धमनियों में प्लाक जमने का कारण बन सकता है, जिससे हृदय रोग और स्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता है।

3. पोषक तत्वों की कमी (Lack of Nutrients)

  • क्यों है हानिकारक? सबसे बड़ी गलतियों में से एक है इस कॉफी को एक संतुलित नाश्ते का विकल्प मान लेना। जब आप घी वाली कॉफी के लिए अपना सुबह का नाश्ता (जैसे पोहा, दलिया, अंडे या फल) छोड़ते हैं, तो आप शरीर को आवश्यक फाइबर, प्रोटीन, विटामिन्स और मिनरल्स से वंचित कर देते हैं। यह सिर्फ एक फैट और कैफीन का कॉकटेल है, जिसमें कोई अन्य पोषण नहीं है।
ghee wali cofee peene ke fayde

4. कैलोरी में बहुत ज्यादा (Very High in Calories)

  • क्यों है हानिकारक? एक कप घी वाली कॉफी में 200 से 400 कैलोरी तक हो सकती है। अगर आप इसे अपने सामान्य आहार के साथ अतिरिक्त रूप से पी रहे हैं, तो यह वजन घटाने की बजाय वजन बढ़ने का कारण बन सकती है।

विशेषज्ञ की राय

“एक हृदय रोग विशेषज्ञ के रूप में, मैं किसी भी ऐसी आदत की सिफारिश नहीं कर सकता जो किसी व्यक्ति के सैचुरेटेड फैट के सेवन को नाटकीय रूप से बढ़ा दे। यह ट्रेंड भले ही लोकप्रिय हो, लेकिन बढ़े हुए एलडीएल कोलेस्ट्रॉल और संभावित हृदय रोग का दीर्घकालिक जोखिम आम जनता के लिए किसी भी अल्पकालिक कथित लाभ से कहीं ज़्यादा चिंताजनक है।” – डॉ. प्रकाश त्रिपाठी, हृदय रोग विशेषज्ञ (Cardiologist)

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क्या आपको कॉफी में घी डालकर पीना चाहिए?

एक आम सवाल जो पाठक अक्सर पूछते हैं, “तो क्या यह मेरे लिए सही है?” अधिकांश लोगों के लिए, जो एक सामान्य, संतुलित आहार लेते हैं, यह एक स्वस्थ दैनिक आदत नहीं है।

इसके हृदय स्वास्थ्य से जुड़े जोखिम बहुत स्पष्ट हैं। यह ट्रेंड उन लोगों के एक बहुत छोटे समूह के लिए हो सकता है जो एक सख्त, चिकित्सकीय देखरेख में कीटो डाइट का पालन कर रहे हैं, लेकिन आम जनता के लिए इसके नुकसान फायदों से कहीं ज़्यादा हैं।

कॉफी पीने का स्वस्थ विकल्प क्या हैं?

अगर आप अपनी कॉफी को और भी सेहतमंद बनाना चाहते हैं, तो इन विकल्पों पर विचार करें:

  • ब्लैक कॉफी पिएं: यह एंटीऑक्सीडेंट का सबसे अच्छा स्रोत है और इसमें लगभग शून्य कैलोरी होती है।
  • थोड़ा दूध मिलाएं: यदि आपको ब्लैक कॉफी पसंद नहीं है, तो थोड़ी मात्रा में कम फैट वाला दूध या अनस्वीटेंड बादाम/ओट्स मिल्क मिलाएं।
  • मसाले डालें: दालचीनी का एक छोटा टुकड़ा या एक चुटकी जायफल पाउडर मिलाएं। ये मसाले ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मदद कर सकते हैं और स्वाद भी बढ़ाते हैं।
  • हेल्दी फैट्स खाएं: अपने हेल्दी फैट्स कॉफी में डालने के बजाय, उन्हें भोजन के रूप में खाएं। नाश्ते में मुट्ठी भर बादाम, अखरोट या एवोकैडो शामिल करें।
Black coffee peene ke fayde

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

क्या घी वाली कॉफी से वजन कम होता है?

यह भूख को कम कर सकती है, लेकिन यह कैलोरी में बहुत अधिक होती है और आसानी से वजन बढ़ा सकती है। स्थायी वजन घटाना हमेशा एक संतुलित, कैलोरी-नियंत्रित आहार और व्यायाम से होता है।

क्या यह दूध और चीनी वाली कॉफी से बेहतर है?

यह चीनी वाली कॉफी से तो बेहतर है, लेकिन कम फैट वाले दूध की थोड़ी मात्रा वाली कॉफी, एक बड़े चम्मच सैचुरेटेड फैट वाली कॉफी की तुलना में ज्यादातर लोगों के लिए एक सुरक्षित विकल्प है।

किन्हें इससे बिल्कुल बचना चाहिए?

जिन लोगों का कोलेस्ट्रॉल बढ़ा हुआ है, जिन्हें हृदय रोग का इतिहास है, या जो कीटो डाइट पर नहीं हैं, उन्हें इस ट्रेंड से बचना चाहिए।

निष्कर्ष

कॉफी में घी डालकर पीने के फायदे और नुकसान का विश्लेषण करने पर यह स्पष्ट होता है कि यह ट्रेंड अपने साथ महत्वपूर्ण स्वास्थ्य जोखिम लेकर आता है, विशेष रूप से हृदय स्वास्थ्य के लिए। इसके उच्च सैचुरेटेड फैट सामग्री को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता।

हेल्थ ट्रेंड्स आते और जाते रहते हैं, लेकिन संतुलित आहार के सिद्धांत, जिसमें साबुत अनाज, फल, सब्जियां, लीन प्रोटीन और नट्स-बीज जैसे स्रोतों से मिलने वाले स्वस्थ वसा शामिल हैं, हमेशा कायम रहते हैं। अपनी सुबह की कॉफी का आनंद लें, लेकिन इसे एक स्वस्थ आदत बनाए रखें, न कि एक जोखिम भरा प्रयोग। आपके दीर्घकालिक स्वास्थ्य के लिए सूचित और समझदारी भरे निर्णय लेना ही सबसे अच्छा है।

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